कहानी संग्रह >> 27 श्रेष्ठ कहानियाँ 27 श्रेष्ठ कहानियाँचन्द्रगुप्त विद्यालंकार
|
0 |
स्वतंत्रता प्राप्ति के कुछ आरंभिक वर्षों की कहानियाँ
अब नवीन और मदन गोपाल बहस में लग गए। जब दस मिनट लगातार बहस होती रही तो
चन्द्रकान्त भी संग्राम में कूद पड़ा; बोला-''आप लोग लड़ता क्यों है? मैं
समझता है।'' नवीन और मदन गोपाल ने चन्द्रकान्त की ओर देखा। चन्द्रकान्त ने
कहा-''ऐसा करो हम तीनों का चवन्नी है-तीनों का खोटा है। पर ड्राइवर का एक
चवन्नी गया। सो, हम तीन इसको एक चवन्नी दें।''
|
लोगों की राय
No reviews for this book