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ऑथेलो (नाटक)

रांगेय राघव

प्रकाशक : भारतीय साहित्य संग्रह प्रकाशित वर्ष : 2015
पृष्ठ :184
मुखपृष्ठ : ई-पुस्तक
पुस्तक क्रमांक : 10117
आईएसबीएन :978161301295

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Othello का हिन्दी रूपान्तर

इआगो : यदि मैं इसे पी हुई शराब के ऊपर बस एक प्याला-भर और पिलाने में सफल हो गया तो समझ लो यह किसी भी जवान औरत के लिए कुत्ते की तरह पागल और मस्त हो जाएगा। और उधर प्रेम में पागल मूर्ख रोडरिगो भी डैसडेमोना के लिए शुभकामना में पी-पीकर धुत हो चुका है और वह भी आज प्रहरी है। यहाँ मेरे साथ साइप्रस के तीन कुलीन और उद्दण्ड तरुण हैं जो ज़रा-सी बात पर भड़क उठते हैं और भिड़ने को तैयार रहते हैं। मैंने उन्हें पिला-पिलाकर उत्तेजित कर रखा है। वे भी प्रहरी हैं। अब शराबियों के इस दल में मुझे कैसियो को पिलाकर ऐसे पेश करना है कि द्वीप-निवासी उत्तेजित हो उठें। लो, वे आ गए! यदि मेरी आयोजना के अनुसार सब कार्य पूर्ण हो गए तो फिर मेरी नाव तो हवा और पानी की अनुकूलता में मज़े में बहेगी।

(कैसियो का मोनटानो तथा अन्य नागरिकों के साथ प्रवेश; पीछे मदिरा पात्रों के साथ सेवक हैं)

कैसियो : भगवान-कसम! उन्होंने मुझे तो पहले ही पिला-पिलाके चक्क कर दिया।

मोनटानो : ज़रा-सी लीजिए! सैनिक हूँ, सच कहता हूँ, बहुत थोड़ी सी!

इआगो : शराब लाओ!

(गाता है)

खन खन प्याले बजे हमारे

खन खन खन खन खन खन खन!

होता है, इन्सान सिपाही

और ज़िन्दगी छोटा भाई,

पिए न क्यों फिर कहो सिपाही!

खन खन प्याले बजें हमारे

खन खन खन खन खन खन खन!

लड़को! और शराब लाओ!

कैसियो : भगवान-कसम! क्या ज़ोरदार गाना है!

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