नई पुस्तकें >> रौशनी महकती है रौशनी महकती हैसत्य प्रकाश शर्मा
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‘‘आज से जान आपको लिख दी, ये मेरा दिल है पेशगी रखिये’’ शायर के दिल से निकली गजलों का नायाब संग्रह
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ये जो अहले-नज़र की बातें हैं
ये जो अहले-नज़र की बातें हैं
तीरगी में सहर की बातें हैं
आपका हमसे यूँ सुख़न करना
दर्द से चारागर की बातें हैं
रोज़ लड़ता है आइना मुझसे
क्या बताऊँ ये घर की बातें हैं
मंज़िलों की भी हम सुनाएंगे
हाँ! अभी तो सफ़र की बातें हैं
दाद मिलती है उनको ऐबों की
अपने-अपने हुनर की बातें हैं
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